पटना : बिहार के नालंदा और सासाराम में रामनवमी के दौरान भड़की हिंसा और आगजनी मामले पर बड़ी बातें सामने आ रही है। इस मामले की जांच EOU द्वारा की जा रही है। EOU के तरफ से इस मामले को लेकर अबतक किए गए अनुसंधान को लेकर आज ADG पुलिस मुख्यालय जितेंद्र सिंह गंगवार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बड़ा खुलासा किया है। ADG जितेंद्र सिंह गंगवार ने मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि EOU की जांच के क्रम में पाया गया की साइबर स्पेस पर उन्माद फैलाने में पोस्ट की अहम रोल रही। लोगों को उकसाया गया, और एकजुट किया गया। फिर उन्माद किया गया।
ADG जितेंद्र सिंह गंगवार ने कहा कि इस मामले को लेकर एक FIR पहले से दर्ज था। जिसमें 240 लोगों के विरुद्ध दर्ज था और एक नया FIR कल EOU के तरफ से दर्ज की गई है। जिसमें कुल 15 लोगों को अभियुक्त बनाया गया है। इनमें से पांच की गिरफ्तारी हो चुकी है। दो ने आज आत्मसमर्पण किया है।
ADG के मुताबिक EOU के द्वारा विभिन्न स्रोतों से गहन विश्लेषण किया गया और जांच में पाया गया की कुछ लोगों ने सुनियोजित तरीके से उन्माद फैलाने को लेकर प्लानिंग की थी। एक व्हाट्स एप ग्रुप बना था, जिसमें 456 लोग जुड़े थे। हालांकि जब ADG पुलिस मुख्यालय से सासाराम में हुए उन्माद मामले को लेकर हो रहे अनुसंधान को लेकर पूछा गया तो, ADG ने कहा कि मेरे पास अभी कोई जानकारी नहीं है जब आयेगी तब बताएंगे।