◆ राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग, भारत सरकार के माननीय सदस्या पहुंची गढ़वा
◆ अनुसूचित जनजाति समुदाय के गढ़वा जिला के पंचायती राज जनप्रतिनिधियों के साथ परिसदन भवन में बैठक कर किया संवाद
◆ अनुसूचित जनजाति समुदाय के कल्याणार्थ अनुसूचित जनजाति आयोग की भूमिका से लोगों को कराया अवगत
◆ उपस्थित समुदाय से अपनी-अपनी शिकायतों एवं विभिन्न विषयों से संबंधित मामलों को बताने को की गई अपील
डॉ० आशा लकड़ा, माननीय सदस्या, राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग, भारत सरकार की अध्यक्षता में अनुसूचित जनजाति समुदाय के गढ़वा जिला के पंचायती राज जनप्रतिनिधियों के साथ परिसदन भवन में बैठक आहूत कर संवाद की गई। संवाद कार्यक्रम प्रारंभ होने के पूर्व माननीय सदस्या श्रीमती लकड़ा ने जनजातीय समुदाय के उपस्थित सभी जनप्रतिनिधियों आदि से परिचय प्राप्त किया एवं गढ़वा जिले में अपने आगमन के उद्देश्य से लोगों को अवगत कराया।
उक्त बैठक में संवाद के दौरान माननीय सदस्या श्रीमती लकड़ा द्वारा बताया गया कि देशभर के 705 से अधिक जनजातियों के विभिन्न समूहों के कल्याण के लिए राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग कार्य करती है। उन्होंने आयोग की भूमिका से अवगत कराते हुए बताया कि जनजातीय समुदाय के हक-हुकूक व अधिकारों की रक्षा एवं उनके संरक्षण के लिए आयोग कार्य करती है। उन्होंने स्पष्ट करते हुए कहा कि राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग भारत सरकार देश के विभिन्न जनजातीय समुदायों के हितों की रक्षा के लिए विभिन्न संवैधानिक प्रक्रियाओं के अंतर्गत कार्य करती है। माननीय सदस्या ने बताया कि यदि किसी जनजातीय समुदाय के विरुद्ध जाति सूचक शब्दों का प्रयोग किया जाता है, हिंसा किया जाता है या बाजबरदस्ती भूमि की लूट, यौन शोषण, अपमान, अधिकारों का हनन अथवा अन्य अत्याचार किए जाते हैं तो आयोग द्वारा उन्हें फ्री ऑफ कॉस्ट न्याय दिलाने का कार्य किया जाता है। उन्होंने अपनी शिकायतों को दर्ज कराने हेतु ncstgrams.gov.in वेबसाइट से लोगों को अवगत कराया। उन्होंने बताया कि उपरोक्त साइट पर अपनी शिकायतों को दर्ज कराई जा सकती है, जिस पर आयोग द्वारा उचित कार्रवाई करते हुए न्याय दिलाने का कार्य किया जाता है। जिले के विभिन्न प्रखंडों से आए जनजातीय समुदाय के जन प्रतिनिधियों द्वारा माननीय सदस्या के समक्ष कुछ मामले रखे गयें, जिसमें भूमि की लूट, जनजातीय समुदाय के गांव में सड़क निर्माण कार्य नहीं होना, शिक्षा की कूव्यवस्था, विद्यालयों की कमी, वनाधिकार एवं राशन आदि से संबंधित विभिन्न मामलों के अंतर्गत अपनी-अपनी बातें रखी गई, जिसे माननीय सदस्या द्वारा लिखित रूप से आवेदन देने अथवा उपरोक्त दिए गए वेबसाइट ncstgrams.gov.in पर ऑनलाइन शिकायतों को दर्ज करने की बात कही गई। उन्होंने जनजातीय समुदाय के उपस्थित जनप्रतिनिधियों को आश्वस्त कराया कि संवैधानिक प्रक्रियाओं के अंतर्गत जनजातीय समुदाय के विभिन्न अधिकारों की रक्षा के लिए एवं सामाजिक व आर्थिक विकास के लिए आयोग कार्य करती है तथा उन्हें न्याय दिलाती है। उन्होंने जनजातीय समुदायों के बीच अपने हक अधिकार को जानने की बात कही तथा राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग भारत सरकार के विषय में लोगों को विस्तार से अवगत कराया।
उक्त बैठक में जिले के विभिन्न प्रखंडों से आए जनजातीय समुदाय के पंचायती राज के जनप्रतिनिधियों के अतिरिक्त जिला कल्याण पदाधिकारी धीरज प्रकाश आदि उपस्थित थें।