Desk. मणिपुर हिंसा की जांच के लिए न्यायिक आयोग का गठन किया जाएगा। इसका ऐलान केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने किया है। गृहमंत्री ने कहा कि हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज की अध्यक्षता में यह जांच होगी। साथ ही उन्होंने ने पीड़ितों को 10-10 लाख रुपये का मुआवजा देने का एलान किया है। इनमें से 5 लाख केंद्र सरकार और पांच लाख राज्य सरकार द्वारा दिये जाएंगे।
अमित शाह मणिपुर दौरे पर हैं। इस दौरान उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि मणिपुर हिंसा की जांच के लिए न्यायिक आयोग का गठन किया जाएगा। साथ ही सीबीआई द्वारा भी हिंसा की छह घटनाओं की जांच की जाएगी। वहीं गृहमंत्री ने लोगों से अपील की कि जिनके पास हथियार हैं, वो हथियार पुलिस के पास जमा कर दें। कल से पुलिस कॉम्बिंग करेगी और कॉम्बिंग के दौरान जिन लोगों के पास हथियार मिलेंगे, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
अमित शाह ने कहा कि मणिपुर उच्च न्यायालय की ओर से जल्दबाजी में लिये गये फैसले के कारण दो गुटों के बीच हिंसा हुई। केंद्रीय गृह मंत्री ने लोगों से अफ़वाहों पर ध्यान ना देने और राज्य में शांति बनाए रखने की अपील की और साथ ही उग्रवादी समूहों को चेतावनी दी कि वे अगर संचालन का निलंबन (एसओओ) संधि का किसी भी प्रकार से उल्लंघन करते हैं तो उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई भी जाएगी।
बता दें कि मणिपुर में करीब एक महीने पहले ट्राइबल सॉलिडेरिटी मार्च के दौरान हिंसा भड़की थी। दरअसल, मैती समुदाय के लोग जनजातीय आरक्षण की मांग कर रहे हैं। इसी के खिलाफ मणिपुर के पहाड़ी इलाकों में ट्राइबल मार्च के दौरान हिंसा भड़की। हिंसा में अभी तक 80 के करीब लोगों की मौत हो चुकी है। कई उग्रवादी संगठनों और सुरक्षा बलों के बीच मुठभेड़ की खबरें सामने आई हैं। सेना और पुलिस द्वारा जगह जगह सर्च ऑपरेशन चलाए जा रहे हैं और ड्रोन से भी निगरानी की जा रही है।










