मुंबई: महाराष्ट्र में एक बार राजनीति उथल पुथल हुई है। एनसीपी नेता अजित पवार बगावत करते हुए कई विधायकों को साथ शिंदे सरकार में शामिल हो गए हैं। अजित पवार ने रविवार को मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की मौजूदगी में राजभवन में महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली। इस दौरान एनसीपी के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल ने भी महाराष्ट्र के मंत्री पद की शपथ ली है।
ये बने मंत्री
उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस भी शपथग्रहण के दौरान राजभवन में मौजूद रहे। महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री और एनसीपी नेता दिलीप वाल्से पाटिल, हसन मुश्रीफ और धनंजय मुंडे ने भी महाराष्ट्र के मंत्री पद की शपथ ली है। सूत्रों के अनुसार अजित पवार के साथ राजभवन गए कुछ विधायक, पटना में विपक्षी एकता बैठक में राहुल गांधी के साथ मंच साझा करने और उन्हें सहयोग करने के शरद पवार के ‘एकतरफा’ फैसले से नाराज थे।
‘महाराष्ट्र को मजबूती देने के लिए समीकरण जरूरी’
बीजेपी के महाराष्ट्र प्रदेश अध्यक्ष चन्द्रशेखर बावनकुले ने कहा कि पीएम मोदी की दृष्टि को समर्थन देने के लिए आज एनसीपी के अजित पवार और उनके साथ के नेता आए हैं। महाराष्ट्र को मजबूती देने के लिए यह समीकरण बैठा है। ये समीकरण महाराष्ट्र को आगे लेकर जाएगा। महाराष्ट्र के मंत्री सुधीर मुनगंटीवार ने कहा कि राष्ट्रवादी पार्टी ने बीजेपी का साथ देने का निर्णय लिया है। उनका हम स्वागत करते हैं। आज एनसीपी के 40 से ज्यादा विधायक शामिल हुए हैं।
अजित पवार ने एनसीपी विधायकों की बुलाई थी बैठक
इससे पहले अजित पवार ने एनसीपी विधायकों की बैठक बुलाई थी। जिसपर एनसीपी चीफ शरद पवार ने कहा था कि मुझे ठीक से नहीं पता कि यह बैठक क्यों बुलाई गई है, लेकिन विपक्ष के नेता होने के नाते उन्हें (अजित पवार) विधायकों की बैठक बुलाने का अधिकार है। वह ऐसा नियमित रूप से करते हैं। मुझे इस बैठक के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है।










