पहलगाम के बैसरन घास के मैदान में हाल ही में हुए आतंकी हमले ने पूरे इलाके में भय का माहौल पैदा कर दिया है। इस हमले में 26 निर्दोष नागरिकों की जान गई, जब आतंकियों ने AK-47 राइफलों से करीब 20 मिनट तक गोलियां चलाईं। हमले में शामिल आतंकियों की पहचान आसिफ फूजी, सुलेमान शाह, और अबू तल्हा के रूप में हुई है। इनमें से दो आतंकियों को पाकिस्तानी नागरिक बताया गया है, जो लश्कर-ए-तैयबा और उसके प्रॉक्सी संगठन टीआरएफ से जुड़े हैं। सुरक्षा एजेंसियों ने संदिग्धों के स्केच जारी किए और जनता से किसी भी सुराग की जानकारी साझा करने की अपील की है।
इस कांड के बाद घाटी में सुरक्षा व्यवस्था और सख्त कर दी गई है। अनंतनाग और आसपास के जिलों में बड़े पैमाने पर तलाशी अभियान चलाया जा रहा है। ड्रोन, हेलीकॉप्टर, खोजी कुत्ते और अतिरिक्त सुरक्षा बलों को तैनात किया गया है ताकि हमलावरों को जल्द से जल्द पकड़ा जा सके। कश्मीर के शीर्ष सुरक्षा अधिकारियों ने इसे घाटी के हाल के इतिहास में सबसे भयावह आतंकवादी हमलों में से एक बताया है, जिससे यह स्पष्ट है कि स्थिति को नियंत्रण में लाने के लिए व्यापक स्तर पर प्रयास हो रहे हैं।
जनता के मन में व्याप्त भय को दूर करने और सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए सुरक्षा एजेंसियां और प्रशासन कड़ी मेहनत कर रहे हैं। यह घटना कश्मीर घाटी में शांति प्रक्रिया के लिए एक गंभीर चुनौती बनकर उभरी है। सरकार और सुरक्षा बल इस हमले के मास्टरमाइंड्स को पकड़ने और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए प्रतिबद्ध हैं।